छात्र देश के भविष्य हैं,राजनेताओं की तरह दागी नहीं! - प्रसिद्ध यादव।
सरकार छात्रों की मांगों को सुनने के बदले उनपर लाठियां बरसा रही है। ये छात्र भविष्य के धरोहर हैं, राजनेताओं जैसे हिस्ट्रीशीटर, अपराधी, चोर, उचक्के, घोटालेबाज, दुष्कर्मी, अत्याचारी, व्ययभिचारी, लुटेरे, डकैत नही है। अगर ये अपनी औकात पर आ गए तो पटना से लेकर दिल्ली वालों की औकात समझ आ जायेगी। ये सही है कि रेलवे के एनटीपीसी, ग्रुप डी के भर्ती में कोई राजनेता के बेटा बेटी नही है। सभी मध्यम वर्गीय, गरीब परिवार के अभ्यर्थी हैं ,इसलिए इनके साथ अमानवीय व्यवहार किया जा रहा है। रिजल्ट के बाद जब छात्र रिजल्ट को रिवीजन की मांग कर रहे थे। एक पद बीस अभ्यर्थी, लेकिन आयोग एक एक अभ्यर्थी को 5- 6 पद पर रिजल्ट निकाला, जिससे करीब 40 फीसदी मुख्य परीक्षा देने से वंचित हो गये। ग्रुप डी में दो बार लिखित परीक्षा की सूचना जारी कर दी, जिससे छात्र भड़क गए क्योंकि फॉर्म भड़ते समय ऐसा नही था। एक तो 3 साल में एक परीक्षा हो रही है, भारी भड़कम शुल्क ,सार्वजनिक क्षेत्र को निजीकरण, घटते रोजगार के अवसर। आखिर सरकार की मंशा क्या है?
छात्रों को भी अहिंसात्मक रूप से आंदोलन करना चाहिए, राष्ट्रीय सम्पति को नुकसान नहीं पहचाना चाहिए और बोर्ड को भी सहानुभूति पूर्वक विचार कर समाधान निकालना चाहिए।
Comments
Post a Comment