महिला पहलवानों का केंद्र सरकार के लाडले ब्रजभूषण सिंह के खिलाफ आंदोलन !-प्रसिद्ध यादव।
जब रावण की लंका में आग लगी थी तो पवन भी तेज हो गया था। ठीक इसी तरह केंद्र सरकार ब्रजभूषण के खिलाफ उठ रहे बयार को नहीं समझ पा रही है। किसान इसी तरह लगातार आंदोलनरत थे तब सरकार किसानों के सामने घुटनों के बल चल कर आई थी और किसान बिल वापस ली थी।इस मामले में भी ज्वाला तेज हो रहा है और अंततः सरकार को भूषण से मोह त्यागना पड़ेगा। सरकार अभी मन की बात की शतक लगाने की तैयारी में है ।हर बूथ पर 100 जन को मन की बात सुनने वाले को खोजा जा रहा है । जब सरकार जन की बात छोड़ दें राष्ट्र के गौरव बढ़ाने वाली महिला पहलवानों की बात नहीं सुन रही है तो सरकार की जबरन मन की बात कौन सुनेगा ? तीन महीने के बाद भारत के शीर्ष पहलवान दिल्ली के जंतर मंतर पर एक बार फिर धरने पर बैठ गए हैं. उनकी मांग है कि भारतीय कुश्ती संघ के प्रमुख को तत्काल गिरफ्तार किया जाए.
इसी साल जनवरी की कड़कड़ाती ठंड में भारत के कई पुरुष और महिला पहलवानों ने भारतीय कुश्ती संघ (डब्ल्यूएफआई) के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ दिल्ली के जंतर मंतर पर कई दिनों तक आंदोलन किया था. उन्होंने बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था. उस वक्त पहलवानों के इस आंदोलन ने काफी सुर्खियां बटोरी और केंद्र सरकार ने इन शिकायतों पर कार्रवाई का भ
रोसा भी दिया था.
तीन महीने बीत जाने के बाद एक बार फिर देश के कई नामी पहलवान दिल्ली के जंतर मंतर पर धरने पर बैठ गये. इनकी मांग है कि यौन उत्पीड़न के आरोपों की जांच करने वाली कमेटी की रिपोर्ट सार्वजनिक की जाए.
पहलवान बजरंग पूनिया ने ट्विटर पर एक बयान जारी कर सभी खाप पंचायतों से इस धरने में शामिल होने का अनुरोध किया है. उन्होंने कहा कि बहन-बेटियों को न्याय दिलाने के लिए सभी लोग आगे आयें.
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