खाली मन में भर गया नफरत की मन में बात - प्रसिद्ध यादव।

   


व्यर्थ बैठे युवाओं  को भा गया 

नफ़रत की सौगात !

खाली मन में भर गया 

नफरत की मन में  बात।

जो व्यस्त हैं, काम में मस्त हैं 

कब सुबह ,कब शाम हुई ?

नहीं सुनते हैं बकवास ।

खाली मन में भर गया 

नफरत की मन में बात।

न महंगाई की, न रोजगार की

न प्रेम ,सद्भाव की होती बात।

खाली मन में भर गया 

नफरत की मन में  बात।

  बड़ों के संतान पढ़ते 

हार्वर्ड , कैम्ब्रिज ,आईआईएम 

छोटे मस्त बाजकर घंटा 

करते कहीं दरवानी 

साहेब को करते सैल्यूट 

दिखते हैं बड़ों की औकात।

खाली मन में भर गया 

नफरत की मन में बात।

मनगढ़ंत को छोड़ो 

यथार्थ को जानो 

जाति धर्म के उलझन में 

जीवन मत बिगाड़ो ।

ये काम है पाखंडियों की 

परजीवियों , मनुवादियों की।

बुद्ध, कबीर ,अम्बेडकर की बात सुनो

बाकी करो अनसुना 

पाखंड ,ढोंग को मारो लात।

खाली मन में भर गया 

नफरत की मन में  बात।

नफ़रत की यही आग से 

आबाद है सियासत ।

खाली मन में भर गया 

नफरत की मन में  बात।- प्रसिद्ध कुमार।


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